/mayapuri/media/media_files/2025/04/19/GA4jQN0B7CJ4HZlMTo7n.jpg)
करण सिंह त्यागी निर्देशित उनकी नवीनतम फ़िल्म 'केसरी चैप्टर 2' में जहाँ लीड एक्टर अक्षय कुमार की खूब वाहवाही हो रही है वहीं बॉलीवुड और साउथ के धुरंधर अभिनेता आर महादेवन की भी तारीफों के पुल बंध रहे हैं. कुछ लोगों का कहना है कि 'केसरी चैप्टर 2' में माधवन की भूमिका किसी भी तरह नायक से कम नहीं है. फ़िल्म में माधवन, एक शक्तिशाली एन्टागोंनिस्ट ब्रिटिश बैरिस्टर नेविल्ले मेकिंगले का किरदार निभा रहे हैं जो उनके अब तक के करियर का वन ऑफ द मोस्ट चैलेंजिंग रोल था. माधवन का कहना है, "केसरी चैप्टर 2 को केवल एक ऐतिहासिक फ़िल्म कहना बिल्कुल गलत है. इस बार इसकी कहानी नृशंस हत्याकांड के स्थल से आगे बढ़ कर कोर्ट रूम में चली गई है, जहाँ शब्द और सच्चाई असली हथियार बन गए हैं."
'द केस दैट शुक द एम्पायर' किताब से प्रेरित यह फ़िल्म, सी शंकरन नायर की बहादुरी पर आधारित है, जिसने जलियाँवाला बाग हत्याकांड के बाद ब्रिटिश साम्राज्य के सामने सीना तान कर खड़े होने का साहस किया था. आर माधवन ने इस फ़िल्म में ब्रिटिश क्राउन के प्रतिनिधि के रूप में एक चुनौतीपूर्ण भूमिका निभाई हैं. उनका किरदार एक ऐसा किरदार है जिसमें कई लेयर्स और रंग हैं. मधवन ने खुले तौर पर कहा है कि वह चाहते हैं कि दर्शक उन्हें इस भूमिका में देखकर उनसे नफरत करें. तभी वह किरदार के साथ न्याय कर पाएँगे.
माधवन ने हाल ही में साझा किया कि यह फ़िल्म उनके कैरियर के अब तक का सबसे गौरवपूर्ण काम रहा है. उन्होंने बताया कि कैसे यह फ़िल्म एक मज़बूत संदेश देती है. वे बोले, "भारत एक गौरवशाली देश है जिसके लोग गौरवशाली हैं, और वे दिन अब खत्म हो गए हैं जब भारतीयों को हल्के में लिया जाता रहा था. उन्हें उम्मीद है कि दुनिया भर के लोग फ़िल्म देखेंगे और भारत की ताकत और भावना को समझेंगे. यह फ़िल्म, गोलियों से छलनी हुए देश भक्ति से ओतप्रोत आम देश वासियों द्वारा उस समय के दर्द, गुस्से और उम्मीद का एहसास कराती है.
आर. माधवन एक बेहद उच्च शिक्षित इंसान हैं जिन्होंने ना जाने कितने छात्रों को ग्रूम होना सिखाया. उनकी कहानी ऐसी है जो कई लोगों को प्रेरणादायक लगती है. उनकी कलाकारी यह दिखाती है कि कैसे कोई व्यक्ति छोटी शुरुआत कर सकता है और कड़ी मेहनत और धैर्य के साथ धीरे-धीरे बड़ा नाम बना सकता है. जमशेदपुर के एक उनींदे शहर में जन्मे माधवन का परिवार, दूर दूर तक फिल्मों या अभिनय से जुड़े हुए नहीं थे. उनके पिता एक स्टील कंपनी में काम करते थे और उनकी माँ एक बैंक मैनेजर थीं. बचपन में वे शर्मीले थे, लेकिन कहानियों और फिल्मों के प्रति उनका गहरा लगाव था. उनका सपना एक अभिनेता बनने का था, लेकिन यह रास्ता आसान नहीं था.
यही वजह है कि इतने टैलेंटेड एक्टर को अपने करियर की शुरुआत में, टेलीविजन में काम करना पड़ा. वे शुरुआती दिन कठिन थे. उन्हें टीवी धारावाहिकों, जैसे ज़ी टीवी कृत 'बनेगी अपनी बात', घर जमाई, साया, आरोहण, सी हॉक्स, टेली फ़िल्म - आहट, में भूमिकाएँ करनी पड़ीं, जिन्हें लोग चाव से देखते थे. कभी-कभी, उन्हें ऐसा लगता था कि फिल्म उद्योग में प्रतिस्पर्धा बहुत अधिक है, इसलिए उन्हें हार मान लेनी चाहिए. लेकिन जिस चीज ने उन्हें आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया, वह उनका यह विश्वास था कि अगर वे ईमानदारी से काम करेंगे, तो अच्छे रिज़ल्ट सामने आएंगी. धीरे-धीरे, उनकी प्रतिभा पर ध्यान दिया जाने लगा. लोगों को उनका स्क्रीन पर सहज और सरल दिखना पसंद आया. वह चिकने और आकर्षक दिखने वाले आम हीरो तो नहीं थे, लेकिन उनमें एक ऐसा आकर्षण था जो आम लोगों से जुड़ जाता था.
माधवन को एक बड़ा ब्रेक तब मिला जब मशहूर निर्देशक मणिरत्नम ने उन्हें अलाईपायुथे नामक तमिल फिल्म में एक छोटा सा रोल दिया. बस! फिर क्या था, उस फिल्म ने उनके जीवन का सब कुछ बदल दिया. अचानक, माधवन सिर्फ़ टीवी एक्टर नहीं बल्कि दिलों को छूने वाले स्टार बन गए
उसके बाद, उन्होंने कई तमिल फिल्मों में काम किया और फिर बॉलीवुड ने उन्हे बुलावा भेजा. वे अपनी किस्मत आजमाने हिंदी सिनेमा में चले आए जहाँ वे 'रंग दे बसंती' और 3 इडियट्स, तनु वेड्स मनु, मन मधे, जैसी फिल्मों से मशहूर हुए. 3 इडियट्स में, उन्होंने एक ऐसा किरदार निभाया जो स्मार्ट होने के साथ-साथ बहुत वास्तविक भी था. इस किरदार में आम दर्शकों ने अपनी अक्स देखी जो उन्हे खुद से जोड़ पाते थे. वह फिल्म बहुत हिट हुई और माधवन को पूरे भारत में जाना जाने लगा.
लेकिन माधवन की सोच सिर्फ़ शोहरत तक ही सीमित नहीं थी. उन्हें कई संघर्षों का सामना करना पड़ा. कुछ निर्देशकों ने पहले उन पर विश्वास नहीं किया. उन्हें कहा गया कि उनका लुक सही नहीं है या वे कुछ खास भूमिकाओं के लिए बहुत साधारण हैं. उन्होंने जिन फिल्मों में काम किया, उनमें से कई अच्छी नहीं चलीं और कई बार उन्हें सही मौके के लिए लंबा इंतज़ार करना पड़ा. फिर भी, उन्होंने सीखना और सुधार करना कभी बंद नहीं किया.
उन्होंने ऐसे रोल चुने जो उन्हें चुनौती देते थे, और उनके अभिनय के अलग-अलग पहलू दिखाते थे. उदाहरण के लिए, फिल्म इरुधि सुत्रु में, उन्होंने एक सख्त बॉक्सिंग कोच की भूमिका निभाई, जो उनकी पिछली रोमांटिक भूमिकाओं से बहुत अलग थी. लोगों ने उनकी कड़ी मेहनत और भूमिका के लिए खुद को बदलने के तरीके की सराहना की.
माधवन एक पारिवारिक व्यक्ति होने के लिए भी जाने जाते हैं. वह शादीशुदा हैं और उनका एक बेटा और एक बेटी भी है. और वह अक्सर अपने बेटे को अपने सपने पूरे करने के लिए सही पथ चुनने की राय देते है. माधवन ने कहा था कि उनके बेटे को जरूर उनके किसी भी करियर की शुरुआत में, एक एक्टर के बेटे होने के कारण आसानी से पहचान मिल सकती है. लेकिन यह आसानी बाद में इतनी कठिन चुनौती बन जाएगी कि वो तभी टिक पाएगा जब वो डबल वेग के साथ और ऊंची छलांग लेकर चंद्रमा से खुद सूरज बन जाएगा. बेहद व्यस्त करियर के बावजूद, वह अपने बच्चों के साथ समय बिताना और उन्हें खुश रखना सुनिश्चित करते हैं. उनका यह पक्ष, उनका और अधिक सम्मान देता है.उनकी सोच यह दर्शाता है कि वह न केवल एक अभिनेता हैं बल्कि एक कंसर्नड पिता और पति भी हैं. रंगनाथन माधवन (आर माधवन) ने अब तक एक नैशनल अवार्ड, पांच फ़िल्मफ़ेयर अवार्ड (साउथ) दो तमिलनाडु स्टेट फ़िल्म अवार्ड, पांच SIIMA अवार्ड जीते. वे
आज जब 'केसरी चैप्टर 2' जलियांवाला बाग हत्याकांड की 1919 में घटी एतिहासिक नर संहार पर बनी फ़िल्म में, एक मुश्किल चरित्र निभा कर आम पब्लिक की प्रतिक्रिया के लिए इंतज़ाररत है तो सबकी नज़रें अक्षय कुमार के साथ लोहे का टक्कर लेने वाले पैन इंडिया स्टार आर माधवन पर भी टिकी है. इस फिल्म से उनके गंभीर और दमदार चरित्र की शुरुआत हो चुकी होने की उम्मीद है. और क्योंकि इसमें माधवन की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है, उनके चाहने वाले उन्हें अपने हमेशा की तरह समर्पण के साथ इस किरदार को जीवंत करते हुए देखने के लिए उत्सुक हैं.
माधवन को जो खास बनाता है वह यह है कि वह, कभी भी जबर्दस्ती ठूँसे गए चरित्र नहीं लगते. वह ऑन और ऑफ स्क्रीन दोनों जगह एकदम सरल और दृढ़ रहते हैं. पटना के एक छोटे शहर के लड़के से मशहूर अभिनेता बनने का उनका सफर इस बात का सबूत है कि धैर्य, ईमानदारी और कड़ी मेहनत से सपने सच हो सकते हैं. उन्हें न केवल उनके अभिनय के लिए बल्कि जिस तरह से वह अपना जीवन जीते हैं - चुपचाप, स्थिरता से और बड़े दिल के साथ - उसके लिए भी प्यार किया जाता है.
Read More
Logout Review: Babil Khan ने इन्फ्लुएंसर और फॉलोअर के पीछे छिपे काले सच को किया उजागर
Jaat Controversy: Sunny Deol और Randeep Hooda के खिलाफ दर्ज हुई FIR, दोनों स्टार्स पर लगा ये आरोप